Divine Disaster Management: तुलसीसदन में दैवीय आपदा प्रबंधन जांच समिति की कार्यशाला संपन्न, आपदा पीड़ितों को मिलेगा त्वरित लाभ
(ब्यूरो रिपोर्ट- सुनील त्रिपाठी)
प्रतापगढ़: उत्तर प्रदेश विधान परिषद की दैवीय आपदा प्रबंधन जांच समिति द्वारा तुलसीसदन (हादीहाल) में एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया।
कार्यशाला का शुभारंभ दीप प्रज्ज्वलन के साथ हुआ, जिसमें समिति के सभापति एमएलसी इंजी. अवनीश कुमार सिंह ने आपदा प्रबंधन और राहत योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी।
उन्होंने कहा कि अग्निकांड में घर जलने की स्थिति में पीड़ितों को मुख्यमंत्री आवास योजना में प्राथमिकता से जोड़ा जाएगा, जिससे उन्हें त्वरित सहायता मिल सके।
आपदा मित्रों, ग्राम प्रधानों व स्वयं सहायता समूहों से संवाद
कार्यशाला में आपदा मित्रों, ग्राम प्रधानों एवं स्वयं सहायता समूह की महिलाओं से सीधा संवाद किया गया। सभापति ने कहा कि आपदाएं बिना पूर्व सूचना के आती हैं, लेकिन जागरूकता से इनसे बचाव संभव है।
सरकार की राहत योजनाओं की जानकारी न होने के कारण कई पीड़ित लाभ से वंचित रह जाते हैं, इसलिए इस तरह की कार्यशालाएं आवश्यक हैं।
समिति के सदस्य एमएलसी उमेश द्विवेदी ने बाढ़ जैसी आपदाओं से बचाव और सरकारी सहायता की विस्तृत जानकारी दी, जबकि डॉ. केपी श्रीवास्तव ने कार्यशाला को ऐतिहासिक बताया और कहा कि प्रयागराज में अब तक ऐसी कार्यशाला नहीं हुई थी।
सरकारी विभागों की प्रदर्शनी, आपदा से बचाव के उपायों पर प्रशिक्षण
कार्यशाला में आयुष, स्वास्थ्य, कृषि, फायर ब्रिगेड और आपदा मित्रों द्वारा प्रदर्शनी लगाई गई। जीजीआईसी की छात्राओं ने स्वागत गीत व रंगोली के माध्यम से अतिथियों का अभिनंदन किया। महिला स्वयं सहायता समूहों को आपदा जोखिम न्यूनीकरण में उनकी भूमिका पर प्रशिक्षण दिया गया।
प्रशिक्षक महेश मिश्र ने आपदाओं के प्रकार, डॉ. ज्ञानेंद्र मौर्य ने सर्पदंश, आपदा मित्र रवि प्रकाश सिंह ने आकाशीय बिजली से बचाव, रत्नेश शर्मा ने आपदा सहायता योजनाओं, अग्निशमन अधिकारी अतुल त्रिपाठी ने आग से बचाव के उपाय, और डॉ. राकेश कुमार चौरसिया ने सीपीआर तकनीक पर प्रशिक्षण दिया। इस दौरान आपदा प्रबंधन से जुड़ी बुकलेट भी वितरित की गईं।
गांवों की समस्याओं पर चर्चा, समाधान का आश्वासन
ग्राम पंचायत जमुआ की प्रधान ममता सिंह ने बकुलाही नदी से सटे गांवों में पेयजल संकट का मुद्दा उठाया, जबकि लक्ष्मणपुर ब्लॉक की संगीता मिश्रा ने नीलगाय व आवारा मवेशियों की समस्या से अवगत कराया। अधिकारियों ने इन समस्याओं के समाधान का आश्वासन दिया।
इस कार्यशाला में 170 स्वयं सहायता समूहों, 170 ग्राम प्रधानों, 100 शिक्षकों सहित आपदा मित्रों ने भाग लिया।
कार्यक्रम में शामिल महत्वपूर्ण अतिथि
इस अवसर पर एमएलसी अंगद कुमार सिंह, सदर विधायक राजेंद्र कुमार मौर्य, भाजपा जिलाध्यक्ष आशीष श्रीवास्तव, एसडीएम शैलेंद्र वर्मा, जिला विद्यालय निरीक्षक ओमकार राणा, बीएसए भूपेंद्र सिंह, तहसीलदार सुप्रिया चतुर्वेदी, सीएमओ डॉ. ए.एन. प्रसाद, पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष ओपी त्रिपाठी सहित कई गणमान्यजन उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन राम प्रकाश पांडेय ने किया।
यह कार्यशाला आपदा प्रबंधन और राहत योजनाओं के प्रति जागरूकता बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल साबित हुई। उपस्थित जनप्रतिनिधियों, अधिकारियों और ग्रामीणों ने इस पहल की सराहना की और इसे ग्रामीण स्तर तक लागू करने की जरूरत पर बल दिया।
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