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सिखों का हो रहा सुनियोजित धर्मांतरण, देशभर में गहराया संकट |
सिखों का हो रहा सुनियोजित धर्मांतरण, देशभर में गहराया संकट
(मुख्य ब्यूरो - अभय कुमार सिंह, प्रयागराज)
प्रयागराज: देश में एक बेहद गंभीर और चिंताजनक प्रवृत्ति तेजी से उभर रही है, जहां सिख समुदाय के कमजोर आर्थिक वर्ग को निशाना बनाकर ईसाई धर्म में सुनियोजित रूप से मतांतरण कराया जा रहा है।
सरदार पतविंदर सिंह ने की उच्च स्तरीय जांच की मांग
यह दावा भारतीय जनता पार्टी के अल्पसंख्यक मोर्चा काशी क्षेत्र के क्षेत्रीय उपाध्यक्ष सरदार पतविंदर सिंह ने किया है। उन्होंने इस पूरे मामले को धार्मिक, सांस्कृतिक और राष्ट्रीय अस्मिता पर हमला करार देते हुए इसकी जांच भारत सरकार की शीर्ष जांच एजेंसी से कराए जाने की मांग की है।
नेपाल सीमा और पीलीभीत बन रहे धर्मांतरण के नए केंद्र
सरदार पतविंदर सिंह ने बताया कि विशेष रूप से उत्तर प्रदेश के नेपाल सीमा से सटे गांवों और पीलीभीत जनपद में मिशनरियों द्वारा ‘चंगाई सभाओं’ की आड़ में धर्मांतरण का एक बड़ा नेटवर्क सक्रिय है।
वहां गरीब सिख परिवारों को मकान, इलाज, नौकरी और नकद धनराशि का लालच देकर धीरे-धीरे ईसाई धर्म में परिवर्तित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि यह न केवल धर्म विशेष के खिलाफ साजिश है, बल्कि भारतीय संविधान की धर्मनिरपेक्ष आत्मा पर भी कुठाराघात है।
सिख समाज में उबाल, सड़कों पर उतरने का संकेत
धर्मांतरण के खिलाफ सिख समाज में नाराजगी बढ़ती जा रही है। प्रयागराज में सरदार पतविंदर सिंह के नेतृत्व में हुई एक बैठक में समाज के कई प्रमुख लोगों ने भाग लिया, जिनमें पमविंदर सिंह बंटी, मनु सिंह, कमल सिंह, कुलदीप सिंह, परमजीत सिंह, जसबीर सिंह, मलकीत सिंह, हरमनजीत सिंह, दलजीत कौर जैसे नाम शामिल हैं।
सभी ने एकमत से इस मुद्दे पर सीबीआई या एनआईए जैसी एजेंसी से जांच कराने की मांग की और चेतावनी दी कि यदि जल्द कार्रवाई नहीं हुई तो सिख समाज देशव्यापी आंदोलन करेगा।
सरकार से हस्तक्षेप की मांग
सरदार पतविंदर सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से अपील की है कि इस नाजुक और संवेदनशील मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए मिशनरियों द्वारा किए जा रहे गैरकानूनी मतांतरण पर तत्काल रोक लगाई जाए और दोषियों को कानून के कठघरे में लाया जाए।
हम धर्म पर हमला बर्दाश्त नहीं करेंगे - सिख समाज
सिख समुदाय ने स्पष्ट किया है कि वे अपने धर्म, परंपरा और संस्कृति पर हो रहे इस प्रकार के सुनियोजित हमले को किसी भी कीमत पर सहन नहीं करेंगे। समाज ने कहा है कि चुप नहीं बैठेंगे, बल्कि कानून के दायरे में रहकर हर मंच पर लड़ाई लड़ी जाएगी।
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