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Thousands of Devotees Missing: हजारों श्रद्धालु लापता, अखिलेश यादव ने सरकार पर उठाए सवाल

Thousands of Devotees Missing, Akhilesh Yadav Questions the Government
Thousands of Devotees Missing: हजारों श्रद्धालु लापता, अखिलेश यादव ने सरकार पर उठाए सवाल

Thousands of Devotees Missing: हजारों श्रद्धालु लापता, अखिलेश यादव ने सरकार पर उठाए सवाल

(रिपोर्ट - नरेन्द्र कुमार)

प्रयागराज महाकुंभ 2025: में शामिल होने आए हजारों श्रद्धालु अब भी लापता हैं, जिससे उनके परिजन गहरे सदमे में हैं। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने इस मुद्दे को उठाते हुए सरकार पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा,

इससे बड़ा दुख और क्या हो सकता है कि महाकुंभ में अपनों को खो देने वालों को यह तक नहीं पता कि उन्होंने अपनों को हमेशा के लिए खो दिया है या उनका इंतजार हमेशा के लिए करना है।

सरकार की नाकामी पर उठे सवाल

अखिलेश यादव ने दावा किया कि सरकार लापता लोगों की सही जानकारी देने में असफल रही है। उन्होंने कहा कि कई परिवार अपने प्रियजनों की तलाश में दर-दर भटक रहे हैं, लेकिन प्रशासन से उन्हें कोई ठोस जवाब नहीं मिल रहा। उन्होंने सवाल किया कि आखिर सरकार इतने बड़े आयोजन में सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम क्यों नहीं कर पाई?

लापता लोगों की संख्या को लेकर विवाद

सूत्रों के मुताबिक, महाकुंभ में लापता लोगों की संख्या 1000 से अधिक हो सकती है, लेकिन प्रशासन इस पर स्पष्ट आंकड़े जारी करने से बच रहा है। कई परिवारों का आरोप है कि सरकारी तंत्र लापता लोगों की रिपोर्ट दर्ज करने में भी लापरवाही बरत रहा है, जिससे उनकी मुश्किलें और बढ़ गई हैं।

सरकार की सफाई

इस बीच, उत्तर प्रदेश सरकार ने सफाई देते हुए कहा कि महाकुंभ में लाखों श्रद्धालु आते हैं, और व्यवस्था बनाए रखना चुनौतीपूर्ण है। प्रशासन का दावा है कि लापता लोगों की तलाश के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है और जल्द ही सभी को ढूंढने के लिए फेस रिकग्निशन तकनीक और डिजिटल डेटा एनालिसिस का सहारा लिया जाएगा।

राजनीति गर्म, परिजनों की चिंता बढ़ी

इस पूरे मामले ने राजनीतिक तूल पकड़ लिया है। जहां समाजवादी पार्टी और अन्य विपक्षी दल सरकार पर हमला बोल रहे हैं, वहीं परिजन अब भी अपने लापता परिजनों की एक झलक पाने की उम्मीद में मंदिरों और पुलिस थानों के चक्कर लगा रहे हैं।

क्या मिलेगा अपनों का सुराग?

अब सवाल यह उठता है कि क्या सरकार इन परिवारों को राहत देने में सफल होगी या फिर यह मुद्दा सिर्फ राजनीति का हिस्सा बनकर रह जाएगा? फिलहाल, लापता श्रद्धालुओं के परिवार हर छोटी से छोटी सूचना के लिए उम्मीद लगाए बैठे हैं, और प्रशासन पर यह दबाव है कि वह जल्द से जल्द ठोस कदम उठाए।

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